फेस वार्ता
ग्रेटर नोएडा:- गलगोटियाज विश्वविद्यालय में तीन दिवसीय “12वें अंतर्राष्ट्रीय पुस्तकालय और सूचना सम्मेंलन आयोजित किया। सम्मेलन के अवसर में मुख्य अतिथि श्री योगेन्द्र उपाध्याय उच्च शिक्षा मंत्री उ०प्र० सरकार ने अपने सम्बोधन में कहा कि शिक्षा सदैव नैतिकता का पाठ पढ़ाती है। वो ज्ञान और विज्ञान के बारे में बताती है। शिक्षा का मूल आधार हमें अच्छे संस्कार देना है। तकनीकी रूप से हमारे ज्ञान को सुदृढ़ करना है। मैं अपने देश के विद्यार्थियों से युवाओं से आज इस अवसर पर कहना चाहता हूँ कि आप आधुनिक तकनीकी में पारंगत होकर पूरी दुनिया के कल्याण के लिये नये से नये आयामों की स्थापना करें। जीवन में ये बात याद रखना कि कठोर परिश्रम से, चिंतन से, मनन से सदैव अमृत निकलता है।
मुख्य अतिथि ने गलगोटियाज विश्वविद्यालय के बारे कहा कि आज गलगोटियाज विश्वविद्यालय के सुन्दर इन्फ़्रास्ट्रक्चर, स्मार्ट क्लास रूम, साफ़ सफ़ाई और स्वच्छता और अनेक विभागों की लैबोरेटरियों की कार्यप्रणाली की बहुत बहुत प्रसंशा करते हुए कहा कि यहाँ पर विद्यार्थियों को अपने जीवन के चहुँमुखी विकास करने का अच्छा अवसर है। उन्होंने आगे कहा कि गलगोटियाज विश्वविद्यालय के चांसलर श्री सुनील गलगोटिया जी शिक्षा जगत में क्रांति कर रहे हैं। उन्होंने किफायती और उच्च गुणवत्ता वाली शिक्षा प्रदान करने के भागीरथ प्रयासों की ह्रदय से सराहना करता हूँ।उन्होंने विश्वविद्यालय के सीईओ डॉ. ध्रुव गलगोटिया की सराहना करते हुए कहा कि उन्होंने विश्वविद्यालय में शिक्षा प्रणाली को विश्वस्तरीय और छात्र-केंद्रित बनाने में अति महत्वपूर्ण निभा रहे हैं। उन्होने भारत सरकार की ONOS (One Nation, One Subscription) पहल का उल्लेख्य करते हुए उसे महत्तवपूर्ण बताया। इस सम्मेलन में देश विदेश से 300 प्रतिभागी भाग ले रहे हैं। जिसमें फ्रॉस, जर्मनी, लन्दन, फ़िलीपींस, इन्डोनेसिया, थाईलैंड, बाँगला देश आदि जैसे महत्वपूर्ण देशों के प्रतिनिधि सम्मिलित हैं। इस सम्मेलन में 84 शोथ पत्र भी प्रस्तुत किए जायेंगे।
आयोजन गौतम बुद्ध विश्वविद्यालय के सहयोग और राजा राममोहन राय पुस्तकालय फाउंडेशन, संस्कृति मंत्रालय, भारत सरकार के सहयोग से गलगोटियाज विश्वविद्यालय में किया जा रहा है। गलगोटिया विश्वविद्यालय के चांसलर सुनील गलगोटिया ने अपने वक्तव्य में कहा कि
शिक्षा प्रणाली का एक प्रमुख हिस्सा होने के नाते, पुस्तकालय को किसी भी संस्थान का हृदय कहा जाता है। यह सम्मेलन भारत के प्रधानमंत्री द्वारा शुरू की गई मेक इन इंडिया और डिजिटल इंडिया परियोजनाओं के दृष्टिकोण और मिशन का समर्थन करेगा। सम्मेलन के दौरान पुस्तकालय सेवाओं में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, रोबोटिक्स, ब्लॉकचेन तकनीक, इंटरनेट ऑफ थिंग्स (IoT) अनुप्रयोग, बिग डेटा एनालिटिक्स, नवाचार और ज्ञान प्रबंधन, शोध डेटा प्रबंधन आदि के उपयोग पर विस्तार से चर्चा की जाएगी। जिससे विद्यार्थियों को और प्रतिभागियों को अपने क्षेत्र में नयी तकनीकों को सीखकर नये आयामों की स्थापना करने का अवसर मिलेगा। इस अवसर पर गलगोटियाज विश्वविद्यालय के वाइस चांसलर डा० के० मल्लिकार्जुन बाबू ने युवाओं से बदलते समय के साथ चलने और नयी तकनीकों को सीखकर राष्ट्र के विकास में अपनी महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए प्रेरित किया। प्रो० वाइस चांसलर डा० अवधेश कुमार ने सभी का धन्यवाद करते हुए कहा कि इस प्रकार के सम्मेलनों का सफल आयोजन हमारे जीवन में एक नयीं ऊर्जा का संचार करते हुए कल के एक समृद्ध भारत के निर्माण करने में सहायक सिद्ध होंगे।