फेस वार्ता। भारत भूषण
गलगोटियास विश्वविद्यालय को “विविभा 2024” में होलिस्टिक इनवॉल्वमेंट श्रेणी में “सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शक” के रूप में सम्मानित किया गया।यह पुरस्कार गुरुग्राम में 15 से 17 नवम्बर 2024 तक आयोजित ‘विजन ऑफ विकसित-भारत – विविभा-2024’ में प्रदान किया गया। यह महत्वपूर्ण सम्मान विश्वविद्यालय की नवाचार, स्थिरता, और समग्र विकास के प्रति प्रतिबद्धता को उजागर करता है। भारतीय शिक्षण मंडल द्वारा आयोजित इस कार्यक्रम में 9000 से अधिक लोग शामिल हुए, जिनमें स्कूल एवं कॉलेज के छात्र, शोधकर्ता, नवप्रवर्तक और उद्योग नेता शामिल थे, जिन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में अत्याधुनिक प्रगति का प्रदर्शन किया।
प्रदर्शनी में, गलगोटियास विश्वविद्यालय ने कई अत्याधुनिक परियोजनाएँ प्रस्तुत कीं, जिनमें वायरलेस इलेक्ट्रिक बस, इलेक्ट्रिक बाइसिकल, रेसिंग कार, और रैपिड प्रोटोटाइपिंग और 3D प्रिंटिंग तकनीकी शामिल थीं। इस प्रदर्शनी में विश्वविद्यालय की उत्कृष्ट खेल सुविधाएँ भी प्रदर्शित की गईं, जो शैक्षिक और सह पाठ्यक्रम गतिविधियों में प्रतिभा को बढ़ावा देने में विश्वविद्यालय की सफलता को रेखांकित करती हैं। इस समग्र प्रदर्शनी ने शोध, नवाचार, और स्थायी प्रथाओं के एकीकरण की भावना को दर्शाया। एक प्रमुख आकर्षण विश्वविद्यालय के प्रतिनिधियों और प्रतिष्ठित हस्तियों के बीच बातचीत थी। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के सरसंघचालक डॉ. मोहन भागवत, भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (ISRO) इसरो के अध्यक्ष डॉ. एस. सोमनाथ, और नोबेल पुरस्कार विजेता डॉ. Kailash Satyarthi कैलाश सत्यार्थी ने गलगोटियास के पवेलियन का दौरा किया और प्रस्तुत किए गए नवप्रवर्तक प्रोजेक्ट्स की सराहना की। इन हस्तियों की विद्यार्थियों और संकाय के साथ बातचीत ने प्रदर्शनी में प्रदर्शित शोध और नवाचारों के राष्ट्रीय महत्व को रेखांकित किया। अन्य प्रमुख आगंतुकों में एडमिरल दिनेश कुमार त्रिपाठी, नौसेना प्रमुख, और डॉ. सत्यश रेड्डी, पूर्व DRDO डीआरडीओ अध्यक्ष, शामिल थे, जिन्होंने शिक्षा और राष्ट्रीय सुरक्षा के मिलन की ओर इशारा किया। इस कार्यक्रम ने गलगोटियास विश्वविद्यालय की खेल प्रतिभाओं की उपलब्धियों का भी सम्मान किया। गलगोटियास स्पोर्ट्स काउंसिल ने उन चार छात्रों की उपलब्धियों को गर्व से प्रस्तुत किया जिन्होंने पेरिस 2024 पैरालंपिक खेलों में पदक जीते, जो विश्वविद्यालय की समग्र शिक्षा दृष्टिकोण को और अधिक प्रमाणित करता है। इन उपलब्धियों से विश्वविद्यालय की प्रतिबद्धता की झलक मिलती है, जो न केवल शैक्षिक बल्कि खेल और अन्य सह पाठ्यक्रम गतिविधियों में भी उत्कृष्टता को पोषित करने के लिए समर्पित है। गलगोटियास विश्वविद्यालय की सक्रिय शिक्षण प्रणाली को प्रमुखता से प्रदर्शित किया गया, जिसमें पारंपरिक शिक्षण विधियों को नवाचारपूर्ण रणनीतियों के साथ मिलाकर छात्रों द्वारा वास्तविक दुनिया की समस्याओं के लिए व्यावहारिक समाधान प्रस्तुत किए गए। इन पहलों ने विश्वविद्यालय के उस आदर्श को व्यक्त किया है, जो वैश्विक नागरिकों को स्थानीय स्तर पर सकारात्मक बदलाव लाने के लिए प्रेरित करता है। गलगोटियास विश्वविद्यालय के सीइओ डॉ. ध्रुव गलगोटिया का दूरदर्शी नेतृत्व इस सफलता का केंद्रीय तत्व था। उनके मार्गदर्शन में विश्वविद्यालय ने शोध, नवाचार और स्थिरता की संस्कृति का विकास किया, जिससे छात्रों और संकाय को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर उत्कृष्टता प्राप्त करने में मदद मिली। डॉ. गलगोटिया का यह दर्शन कि “उत्कृष्टता हमेशा बेहतर करने की कोशिश करने का परिणाम होती है” संस्थान की प्रत्येक पहल में प्रतिध्वनित होता है। विजन फॉर विकसित भारत – विविभा 2024 केवल एक कार्यक्रम नहीं था, बल्कि यह एक मजबूत और समृद्ध भारत बनाने की दिशा में एक बड़ा आंदोलन था। गलगोटियास विश्वविद्यालय की भागीदारी ने न केवल इसे शिक्षा और नवाचार में एक अग्रणी के रूप में पुनः स्थापित किया, बल्कि देशभर के संस्थानों के लिए एक आदर्श स्थापित किया। प्राचीन ज्ञान और आधुनिक उन्नति के मेल से भविष्य को और अधिक उज्जवल और स्थायी बनाने के लिए विश्वविद्यालय अपनी प्रतिबद्धता को जारी रखे हुए है। इस बात की जानकारी भगवत प्रशाद शर्मा मीडिया एग्जीक्यूटिव गलगोटियाज विश्वविद्यालय ग्रेटर नोएडा (उ० प्०) ने दी।