फेस वार्ता। भारत भूषण
रेखा गुर्जर समाज सेवीका हैं जिनकी ससुराल गांव दादूपुर में है और मायका गोठरा बागपत में है
ग्रेटर नोएडा:भाई और बहन की एक ऐसी कहानी जिसमें एक बहन ने अपना फर्ज निभाया अपने भाई को अपना लिवर देकर एक नई जिंदगी दी यह कहानी है रेखा गुर्जर की जो समाज सेवीका हैं जो माता गुर्जरी पन्नाधाय ट्रस्ट की अध्यक्ष है जिनकी ससुराल गांव दादूपुर और मायका गोठरा बागपत में है इनकी कहानी एक बहुत पीड़ा दायक रही मार्च 2024 इनका छोटा भाई जिसको लीवर की प्रॉब्लम थी जिसके लिए डॉक्टर ने लिवर ट्रांसप्लांट के लिए होना जिसमें रेखा ने अपना लिवर डोनेट करने के लिए सारे टेस्ट करें जो लिवर ट्रांसप्लांट 18 मार्च को होना था उससे पहले ही रेखा के छोटे भाई कमलकांत 17 मार्च की सुबह इस दुनिया से चले गए जिससे पूरे परिवार में दुख के बादल छा गए इनका परिवार इस दुख से उभर भी नहीं पाया था 15 दिन बाद ही इनके बड़े भाई प्रदीप कुमार मेट्रो हॉस्पिटल में अपना हर्निया का ऑपरेशन करने गए तो डॉक्टर ने अचानक लीवर की ही प्रॉब्लम बताई और बोला की जल्दी से जल्दी ट्रांसप्लांट कराना है
अप्रैल के पहले सप्ताह में ही परिवार फिर उसी स्थिति में आ गया जो स्थिति उनकी मार्च में थी भाई की जान बचाने के लिए रेखा ने अपना फर्ज निभाते हुए 23 अप्रैल को अपना लिवर डोनेट किया और अपने भाई के प्रति अपनी जिम्मेदारी निभाई ऑपरेशन के 12 दिन बाद रेखा घर आ गई अभी 3 महीने के लिए बेड रेस्ट पर है 21 दिन बाद उनका भाई प्रदीप कुमार ट्रांसप्लांट करा कर घर वापस लौट आए हैं और दोनों स्वस्थ हैं रेखा ने बताया कि हर बहन के लिए उसका भाई अपनी जान से ज्यादा महत्व रखता है उसके लिए बहन कुछ भी कर सकती है तो इसी तरह मैने भी अपने भाई के प्रति अपना फर्ज निभाया और जिम्मेदारी भी और भगवान से प्रार्थना करती हूं कि मेरे भाई हमेशा स्वस्थ रहें। इस तरह से सभी भाई बहनों में इस तरह का ही प्यार और समन्वय बना रहे जिससे परिवार के सभी रिश्ते एक मजबूत कड़ी में बंधे रहे इस बात की जानकारी रेखा गुर्जरने दी।