ग्रेटर नोएडा/ फेस वार्ता: लॉयड ग्रुप ऑफ़ इंस्टिट्यूशंस (फार्मेसी) द्वारा 21-22 मार्च 2025 को आयोजित हेल्थ-ए-थॉन 2.0 सफलतापूर्वक संपन्न हुआ। इस वर्ष की थीम “एआई-ड्रिवन सॉल्यूशन्स फॉर अर्ली डिजीज डिटेक्शन, प्रिसीजन ट्रीटमेंट एंड स्मार्ट मेडिकेशन डिलीवरी” पर आधारित थी। कार्यक्रम में दिल्ली-एनसीआर के 20 से अधिक प्रतिष्ठित विश्वविद्यालयों और महाविद्यालयों के 70 से अधिक छात्र-छात्राओं ने भाग लिया। इस आयोजन में लॉयड टेक्नोलॉजी एंड बिजनेस इनक्यूबेटर की महत्वपूर्ण भूमिका रही। इस 48 घंटे की मैराथन प्रतियोगिता में प्रतिभागियों ने चिकित्सा और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में तकनीकी नवाचारों पर अपने विचार प्रस्तुत किए। इसमें कुछ प्रमुख आईडिया , एआई-आधारित स्मार्ट मेडिकेशन रिमाइंडर और डोज़ ट्रैकिंग सिस्टम , आई. ओ. टी. आधारित पर्यावरण अनुकूल बायोमेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट सिस्टम, आर्टिफीसियल इंटेलिजेंसइंटीग्रेटेड एंबुलेंस सिस्टम फॉर फास्टर इमरजेंसी रिस्पॉन्स ,हेल्थकेयर सेक्टर में रो बो -पॉल्स ,द स्मार्ट टॉयलेट: पब्लिक सैनिटेशन में क्रांति , आर्टिफीसियल इंटेलिजेंस और टेक्नोलॉजी की परिवर्तनकारी क्षमता ” पर कार्य किया। इस प्रतियोगिता में विभिन्न क्षेत्रों के विशेषज्ञ निर्णायक मंडल में शामिल थे, जिनमें डॉ. संजीव गुप्ता (अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान, दिल्ली), मसरूर लोधी ( एआईएवं हेल्थ टेक्नोलॉजी विशेषज्ञ), डॉ. मितिन शर्मा (चिकित्सा अनुसंधान विशेषज्ञ), और सचिन शर्मा (स्वास्थ्य नीति विशेषज्ञ) प्रमुख रूप से शामिल रहे। निर्णायक मंडल द्वारा मूल्यांकन के बाद तीन सर्वश्रेष्ठ टीमों को विजेता घोषित किया गया और समापन समारोह में विजेता टीमों को नकद पुरस्कार प्रदान किए गए
प्रथम स्थान पर रहने वाली -टीम -को ₹10,000/- का पुरस्कार दिया गया, द्वितीय स्थान पर रही -टीम को ₹7,500/- की धनराशि प्राप्त हुई और तृतीय स्थान पर रही -टीम को ₹5,000/- का पुरस्कार दिया गया। इसके अलावा, कुछ टीमों को विशेष श्रेणियों में २500/ नकद धनराशि देकर सम्मानित किया गया, जिनमें “बेस्ट इनोवेटिव आइडिया अवार्ड” और “जेम ऑफ़ हेल्थ-ए-थॉन अवार्ड” शामिल हैं।इसके अलावा, बाकी टीमों को सर्टिफिकेट से सम्मानित किया गया।
कार्यक्रम में पहले दिन (21 मार्च) “पिच योर आइडिया” सत्र का आयोजन किया गया, जिसमें प्रतिभागियों ने दो मिनट के भीतर अपने विचार प्रस्तुत किए। रात्रि में “क्रिएटिव नाइट” आयोजित की गई, जिसमें छात्रों ने पूरी रात अपने नवाचारों पर कार्य किया। दूसरे दिन (22 मार्च) “फाइनल पिचिंग” सत्र हुआ, जिसमें टीमों ने अपने प्रोजेक्ट्स निर्णायक मंडल के समक्ष प्रस्तुत किए।
लॉयड ग्रुप ऑफ़ इंस्टिट्यूशंस की ग्रुप डायरेक्टर एवं चीफ स्ट्रेटजिस्ट डॉ. वंदना अरोड़ा सेठी ने इस अवसर पर कहा:
“भारत को 2047 तक एक विकसित राष्ट्र बनाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के ‘डिजिटल इंडिया’ और ‘आत्मनिर्भर भारत’ विजन के तहत ऐसे नवाचार कार्यक्रम अत्यंत महत्वपूर्ण हैं। हेल्थ-ए-थॉन 2.0 नई तकनीकों को विकसित करने और युवा नवाचारकर्ताओं को प्रोत्साहित करने के लिए एक उत्कृष्ट मंच प्रदान करता है। इससे भारत वैश्विक स्तर पर स्वास्थ्य सेवा तकनीकों में अग्रणी बन सकेगा।लॉयड ग्रुप ऑफ इंस्टिट्यूशंस इस प्रकार के नवाचार और तकनीकी कार्यक्रमों को भविष्य में भी आयोजित करता रहेगा, जिससे छात्र एवं शोधकर्ता स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में नए समाधान विकसित कर समाज को लाभान्वित कर सकें।”
प्रतिभागियों ने इस आयोजन को अपने करियर के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर बताया।
पहली टीम: उतेरा
अक्सा नदीम, आरिबा खान, गुलप्रीत मेहरा
दूसरी टीम: हेल्थ कल्ट,तीसरी टीम: रेसोनेक्स
जेम टीम: क्रेडल क्योर,सर्वश्रेष्ठ टीम: केयर क्रूसेडर्स